रामपुर कोर्ट ने दिया बॉलीवुड अभिनेत्री और राजनेता जया प्रदा को गिरफ्तार करने का आदेश

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रामपुर एमपी/एमएलए कोर्ट ने पुलिस अधीक्षक को दिग्गज बॉलीवुड अभिनेत्री और राजनेता जया प्रदा को गिरफ्तार करने का आदेश दिया है। पुलिस पदाधिकारी को विशेष टीम गठित कर पूर्व सांसद को गिरफ्तार कर कोर्ट में पेश करने को कहा गया है। अभिनेत्री से नेता बनीं जया प्रदा द्वारा सातवीं बार गैर-जमानती वारंट जारी नहीं करने के बाद यह घटनाक्रम सामने आया है।

आईएएनएस की रिपोर्ट के अनुसार, वरिष्ठ अभियोजन अधिकारी अमरनाथ तिवारी ने कहा कि पूर्व सांसद सातवीं बार उनके खिलाफ गैर-जमानती वारंट जारी होने के बाद भी सुनवाई के लिए सोमवार (12 फरवरी) को अदालत नहीं पहुंचीं। मामले में अब अगली सुनवाई 27 फरवरी को होगी।

वह आचार संहिता के उल्लंघन से जुड़े दो मामलों में ‘फरार’ बताई जा रही हैं। गौरतलब है कि उनके खिलाफ आचार संहिता उल्लंघन के दोनों मामले 2019 के लोकसभा चुनाव से जुड़े हैं। उनके खिलाफ स्वार और केमरी थाने में चुनाव आचार संहिता के उल्लंघन की एफआईआर दर्ज की गई थी। तब उन्होंने बीजेपी के टिकट पर रामपुर सीट से चुनाव लड़ा था। वह चुनाव हार गई थीं।

स्वार थाने में दर्ज एफआईआर में उन पर आचार संहिता के बावजूद नूरपुर गांव में एक सड़क का उद्घाटन करने का आरोप है। वहीं केमरी थाने में दर्ज मामले में उन पर पिपलिया मिश्र गांव में आयोजित एक जनसभा में आपत्तिजनक टिप्पणी करने का आरोप है।

दोनों मामलों में पुलिस ने जांच पूरी कर कोर्ट में आरोप पत्र दाखिल कर दिया था। इन मामलों की सुनवाई एमपी-एमएलए स्पेशल कोर्ट (मजिस्ट्रेट ट्रायल) में चल रही है। वह सुनवाई के लिए कई तारीखों में शामिल नहीं हुईं जिसके बाद दोनों मामलों में उनके खिलाफ गैर-जमानती वारंट जारी किए गए।

हालाँकि, यह पहली बार नहीं है कि जया प्रदा विवादों में घिरी हैं। पिछले साल चेन्नई की एक अदालत ने उन्हें एक पुराने मामले में दोषी पाया था। अदालत ने उसे छह महीने जेल की सजा सुनाई और 5,000 रुपये का जुर्माना लगाया।

रिपोर्ट्स के मुताबिक, जया प्रदा पर अपने थिएटर के कर्मचारियों को कर्मचारी राज्य बीमा (ईएसआई) योगदान का भुगतान करने में विफल रहने का आरोप लगा। पूर्व सांसद ने कथित तौर पर आरोपों को स्वीकार किया और मामले को खारिज करने की मांग करते हुए बकाया राशि का भुगतान करने का वादा किया। हालाँकि, अदालत ने उसकी अपील खारिज कर दी और जुर्माना और कारावास दोनों लगाया।