Prayagraj News: नगर निकाय चुनाव में प्रत्याशियों ने दिया खर्चे का ब्योरा

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उत्तर प्रदेश नगर निकाय चुनाव में करीब एक महीने तक प्रत्याशियों के समर्थकों ने खूब मौज की। उनके चुनाव कार्यालय में सुबह के नाश्ता से लेकर दोपहर और रात का भोजन तक किया। इस दौरान समर्थक लाखों रुपये की पूड़ी-सब्जी और पान मसाला खा गए। यह अकड़ा प्रयागराज मंडल के 1514 उम्मीदवारों में 1468 ने चुनावी खर्च का जो विवरण दिया, उसमें यह सामने आया।

आयोग की ओर से पान मसाला पर खर्च के ब्योरे का कोई कालम नहीं है, लेकिन उम्मीदवारों ने इस खर्च का भी विवरण दिया। प्रयागराज के महापौर प्रत्याशियों का अब तक 4 करोड़ रुपये का खर्च का ब्योरा आया है। पार्षद उम्मीदवारों ने लगभग 5 करोड़ पचास लाख रुपये खर्च करने का विवरण दिया है।

वाहनों और भोजन पर सबसे ज्यादा खर्च

नगर पंचायत अध्यक्ष और सदस्य प्रत्याशियों ने 42 लाख रुपये खर्च की जानकारी दी है। मुख्य कोषाधिकारी शिवेन्द्र ने बताया कि निकायों के प्रत्याशियों के चुनाव खर्च जमा होने लगे हैं। ज्यादातर उम्मीदवारों ने हिसाब दे दिए हैं, जिन्होंने नहीं दिए हैं, उन्हें नोटिस भेजा जा रहा है। वाहनों और भोजन पर सबसे ज्यादा खर्च हुआ है।

तय थी खर्च की राशि

नगर निगम के महापौर पद 21 तथा सौ वार्डों में पार्षद पद के लिए इस बार कुल 909 प्रत्याशी मैदान में थे। इसी तरह जिले की आठ नगर पंचायतों में अध्यक्ष पद के लिए 64 और सदस्य पद के लिए 520 उम्मीदवार थे। चुनाव में महापौर प्रत्याशी 40 लाख रुपये, पार्षद प्रत्याशी तीन लाख रुपये खर्च कर सकते थे। नगर पंचायत अध्यक्ष ढाई लाख रुपये तो सदस्य पद के उम्मीदवार 50 हजार रुपये चुनाव में खर्च कर सकते थे।

समय पर जमा करना है हिसाब

राज्य निर्वाचन आयोग ने खर्च के लिए 55 से ज्यादा सामानों के दाम भी तय किए थे। चाय, समोसा, पूड़ी-सब्जी के पैकेट, भोजन, होटल के कमरे, कार समेत अन्य वाहनों के खर्च के रेट निर्धारित किए गए थे। इसी के मुताबिक प्रत्याशियों को खर्च का ब्योरा जमा करना को कहा गया था।

अब प्रत्याशियों की ओर से खर्च का विवरण जमा होने लगा है। तीन टर्म में हिसाब देना था, जिसमें अब तक 1468 प्रत्याशियों ने दूसरे टर्म तक का हिसाब दे दिया है।

खर्चे में सपा और भाजपा सबसे आगे

महापौर, अध्यक्ष पद पर चारों प्रमुख दलों के प्रत्याशियों के खर्च सबसे ज्यादा हैं, जबकि छोटे दल तथा निर्दलियों के कम हैं। इसी तरह पार्षद पद पर सपा और भाजपा के उम्मीदवार खर्च करने में सबसे आगे हैं। अलबत्ता किसी भी प्रत्याशी का खर्च निर्धारित खर्च सीमा से अधिक नहीं है। महापौर के प्रत्याशियों का सर्वाधिक खर्च वाहनों और लंच-डिनर पर हुआ है। रैली, सभा, रोड शो, वाहन जुलूस पर भी लाखों रुपये खर्च किए गए हैं। चुनाव प्रचार सामग्रियों पोस्टर, बैनर, होर्डिंग्स, फ्लेक्स, बिल्ला, कैप व स्टीकर पर 88 लाख रुपये का अब तक हिसाब जमा हुआ है।