कोखराज कौशाम्बी (Kaushambi) सिराथू तहसील के कोखराज थाना अंतर्गत अकराबाद गांव में शुक्रवार की सुबह घर की मरम्मत और पुताई के लिए मिट्टी निकालने गए ग्रामीणों पर मिट्टी का कगार ढह जाने से तमाम लोग हादसे के शिकार हो गए हैं। मिट्टी का कगार ढह जाने से तमाम महिला, पुरुष, बच्चे मिट्टी के ढेर के नीचे दब गए, जिससे चीख पुकार मच गई। मामले की जानकारी मिलते ही आसपास के खेतों में काम कर रहे किसान मजदूर मौके पर पहुंचे। मौके पर पहुंचने के बाद किसान मजदूरों ने हो हल्ला मचाया। आवाज सुनकर आसपास के गांव के लोग बचाव और राहत के लिए दौड़कर घटनास्थल पर पहुंच गए और मिट्टी के ढेर में दबे ग्रामीणों को कड़ी मशक्कत के बाद बाहर निकाला।
मामले की सूचना कौशाम्बी (Kaushambi) पुलिस को दी गई। हादसे की जानकारी मिलते ही घटनास्थल पर कोखराज थाना पुलिस दल बल के साथ पहुंची और ग्रामीणों के सहयोग से बचाव एवं राहत के कार्य में लगी है। हादसे में एक महिला की मौत हो गई है और आधा दर्जन से अधिक लोग गंभीर घायल हैं। पुलिस ने मृतक महिला के शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है और हादसे में घायल लोगों को इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया है। तहसील प्रशासन की बड़ी लापरवाही के चलते इतना बड़ा हादसा हुआ है लेकिन अभी तक आला अधिकारियों ने तहसील प्रशासन की लापरवाही को संज्ञान लेते हुए तहसील प्रशासन पर कार्यवाही नहीं की है। हादसे के शिकार लोगों में नत्थी देवी पत्नी स्व सुरेश रैदास, निवासी काकराबाद थाना कोखराज की मिट्टी ढहने से मिट्टी के ढेर में दब कर दर्दनाक मौत हो गयी है। हादसे के बाद चारों ओर करुण कुंदन रोना चीखना चिल्लाना मचा हुआ है। मृतक महिला के 4 बच्चे रो-रो कर बेहोश हो रहे हैं।

गौरतलब है कि घर की पुताई और मरम्मत करने के लिए चिकनी मिट्टी निकालने के चक्कर में कई लोग काकराबाद गांव में खेत की ओर मिट्टी निकालने गए थे। जहां मिट्टी निकालने के दौरान मिट्टी का कगार ग्रामीणों के ऊपर गिर गया है। हादसे में तमाम ग्रामीण मिट्टी के ढेर के नीचे दब गए। इस हादसे में नत्थी देवी उम्र लगभग 40 वर्ष की मौके पर मौत हो गई है और मिट्टी के ढेर में दबकर तमाम लोग घायल हो गए है। मिट्टी के ढेर में दबे लोगों को कड़ी मशक्कत के बाद बाहर निकाला गया है और घायलों को इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया है। हादसे की जानकारी मिलते ही आसपास गांव के सैकड़ों लोग घटनास्थल पर पहुंच गए हैं।
मामले की सूचना पुलिस को दी गई है। सूचना मिलते ही घटनास्थल पर पुलिस पहुंची है। कौशाम्बी (Kaushambi) एसडीएम को कई बार फोन करने के बाद भी उनका फोन रिसीव नहीं हो सका है। बचाव एवं राहत कार्य में पुलिस जुट गई है। इस हादसे में बिट्टोदेवी, कैलाश, उर्मिला देवी, रामलौटन, सरोज, घनश्याम पुत्र धनीराम, कशिया, सुशीला देवी उम्र 50 वर्ष पत्नी घनश्याम, गंभीर रूप से घायल हो गए हैं। घायलों को इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया है। हादसे के बाद स्थानीय लोगों में प्रशासन के प्रति जबरदस्त आक्रोश व्याप्त है और ग्रामीण प्रशासन के विरुद्ध जमकर बयानबाजी कर रहे हैं।
दर्दनाक हादसे के बाद समाज के ठेकेदार, विभिन्न राजनीतिक दल के बड़े-बड़े नेता, जनप्रतिनिधि पीड़ितों का दुख दर्द बांटने घटनास्थल और उनके घर अभी तक नहीं पहुंच सके हैं। जिससे राजनैतिक दल के बड़े-बड़े नेता जनप्रतिनिधियों की मानवीय संवेदना का अंदाजा लगाया जा सकता है। बताया जाता है कि सरकारी जमीन से अवैध तरीके से तहसील प्रशासन के अधिकारियों और उनके कर्मचारियों के साठगांठ से मिट्टी का अवैध खनन जेसीबी संचालकों द्वारा किया जा रहा था। जिसकी लगातार शिकायत ग्रामीणों द्वारा अधिकारियों से कर अवैध खनन रोकने की मांग की जा रही थी लेकिन कुछ रुपए के लालच में भ्रष्टाचार में लिप्त अधिकारी और कर्मचारी जेसीबी मशीन से हो रहे मिट्टी के अवैध खनन को रोकने को तैयार नहीं हुए। जिससे सरकारी भूमि पर लगभग 20 फुट गहरा गड्ढा हो गया और चिकनी मिट्टी निकालने के चक्कर में गड्ढे में गए।

महिला पुरुष मिट्टी का कगार गिर जाने से हादसे के शिकार हो गए हैं। सरकारी संपत्ति से अवैध तरीके से मिट्टी खनन करने के मामले को समय रहते आला अधिकारियों ने गंभीरता से लेकर अवैध खनन करने वाले मिट्टी खनन माफिया अद्दा और सोनाई जेसीबी संचालक पर मुकदमा दर्ज करा कर अवैध खनन रोक दिया होता और अवैध खनन में संलिप्त तहसील के अधिकारी और कर्मचारियों पर भी कठोर कार्यवाही कर अधिकारी और कर्मचारियों को दंडित कर दिया होता तो शायद इतना बड़ा हादसा नहीं होता लेकिन हादसे के जिम्मेदार तहसील के अधिकारियों और कर्मचारियों पर अभी तक शासन प्रशासन ने कार्यवाही नहीं की है|